गुणवंती परस्ते
पुणे – अपनी काम वासना की इच्छा को पूरा करने के लिए 23 वर्षीय युवक ने एक ढाई साल की बच्ची का अपहरण करके, बच्ची के साथ दुष्कर्म करके हत्या कर दी थी. तीन दिन पहले पुणे के धायरी में एक ढाई साल की बच्ची का आधी रात में घर से ही सोए हुई अवस्था में अपहरण करने की घटना घटी थी. जब मां ने बच्ची को जगह पर नहीं पाया तो देर रात तक बच्ची को काफी ढूंढा गया और पुलिस ने भी नाकाबंदी करके बच्ची को ढूंढने की कोशिश की थी. लेकिन बच्ची की लाश दूसरे दिन सुबह मिलने के बाद से पूरे शहर में हडकंप मच गया था. आखिरकार पुलिस ने इस क्रूर घटना को अंजाम देनेवाले आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है.
पुणे पुलिस द्वारा आयोजित की गई पत्रकार परिषद में अतिरिक्त पुलिस आयुक्त रविंद्र सेनगांवकर ने यह जानकारी दी. साथ ही उन्होंने बताया कि अपनी काम वासना की इच्छा को पूरा करने के लिए नशे की हालत में बच्ची के घर से अपहरण किया था. इस मामले में पुलिस ने अजय उर्फ बबलू रामेश्वर चौरे को सातारा जिले से गिरफ्तार किया गया. अजय नामक आरोपी व्यवसाय से पेंटर है. पुणे में काफी साल से नौकरी के सिलसिले में रहा करता था. घटनावाले दिन अजय अपने कुछ दोस्तों के साथ दारू पी रहा था. बच्ची जिस बिल्डिंग में रहती थी, उस बिल्डिंग में अजय भी दो सालों तक रह चुका था. अजय को क्षेत्र का चप्पे-चप्पे की जानकारी थी. घटना वाले दिन बच्ची रात 9.30 बजे के करीब सो गई थी. उसके माता-पिता भी खाना खाने के बाद गहरी नींद में सो गए थे. दीवाली के अवसर पर बच्ची के मां के मामा भी घर पर आए थे. बातों-बातों में शायद घर का दरवाजा लगाना माता पिता भूल गए थे. आरोपी द्वारा पुलिस को दिए गए बयान के अनुसार जब वो बच्ची के घर में दाखिल हुआ तब घर के दरवाजे की कड़ी लगी हुई नहीं थी, जिसकी वजह से वो आसानी से घर में दाखिल होकर बच्ची को अगवा करके ले गया था. बच्ची के अगवा होने के कुछ समय बाद ही मां की अचानक नींद खुली, बच्ची को जगह पर नहीं पाए जाने की वजह बच्ची की मां ने अपने पति और मामा को उठाया.
बिल्डिंग में रहनेवाले आसपास के लोगों को भी परिवारवालों ने रात में जगाकर पूछताछ की और देर रात ही पुलिस कंट्रोल रुम में फोन करके बच्ची के अगवा होने की जानकारी दी. पुलिस ने घटनावाले दिन नाकाबंदी भी की थी. लेकिन बच्ची देर रात तक नहीं मिली थी. अगले दिन सुबह 7 बचे के करीब नागरिकों द्वारा बच्ची की लाश घास में देखी गई थी. पुलिस की कड़ी पूछताछ में आरोपी अजय ने बताया कि बच्ची को अगवा करके पास के ही सुनसान जगह पर ले जाकर दुष्कर्म किया और बच्ची जब चिल्लाने लगी तो उसका गला दबाकर मार दिया और दूसरे दिन अपने गांव ज्वारी की खेती की कटाई करने के लिए चला गया था.
पुलिस ने इस मामले में काफी लोगों को संदिग्ध के रूप में हिरासत में लिया था. घटना के दूसरे दिन से आरोपी के गायब होने की वजह से पुलिस का शक अजय पर मंडरा रहा था. आखिरकार पुणे क्राइम ब्रांच की टीम और सिंहगड पुलिस स्टेशन की टीम के सहयोग को आरोपी को पकड़ने में सफल रहे.
आरोपी ने पुलिस को यह भी बताया कि उस दिन उसने काफी शराब पी थी और उसे सेक्स करने की काफी इच्छा हो रही थी. वो जगह से काफी परिचित था इसलिए वो आसानी से बच्ची के घर दाखल होने में सफल रहा था. सिर्फ अपनी काम वासना की इच्छा को पूरी करने के लिए उसने बच्ची के साथ दुष्कर्म किया. लेकिन बच्ची के रोने की आवाज से आरोपी ने बच्ची को गला दबाकर मार दिया था. इस घटना से बच्ची के परिवारवाले काफी सदमे में हैं. तीन घंटे के सफल प्रयास के बाद आखिरकार पुणे पुलिस आरोपी को गिरफ्तार कर पायी.